एक बार की बात है एक शहर में देवव्रत नाम का एक व्यक्ति रहा करता था। देवव्रत की पत्नी का नाम रीना था। देवव्रत और उसकी पत्नी रीना में एक बहुत ही बड़ा अंतर था की देवव्रत कुत्तों से बहुत ही ज्यादा प्यार करता था, जबकि उसकी पत्नी रीना कुत्तों से प्यार नहीं करती थी और उन्हें घर से भगाया करती थी।
एक बार की बात है .. देवव्रत के घर के पास एक कुत्तिया ने दो बच्चों को जन्म दिया। देवव्रत ने उस कुत्तिया के बच्चों को खाने के लिए रोटियां दिया करता था। जब उसकी पत्नी रीना को यह बात पता चल जा चला तो बहुत ही गुस्सा हुई। मगर अपनी पत्नी की बातों को अनदेखा करते हुए देवव्रत उनको खाने के लिए रोटियां दिया करता था।
कुछ समय बाद वे दोनों बच्चे बड़े हो गए।
एक रात जब देवव्रत और उसकी पत्नी रीना चैन की नींद सो रहे थे, तो रात में अंधेरे का फायदा उठाकर कुछ चोर देवव्रत के घर में घुसने का प्रयास करने लगे। कुत्तिया के बच्चे चोरों को देवव्रत के घर में जाते हुए देख लिए। क्योंकि कुत्तिया के बच्चे देवव्रत को अपना मालिक मानते थे, इसलिए दोनों कुत्तों ने चोर पर हमला कर दिया और जोर-जोर से भौंकने लगे। अब चोरों को कुछ समझ में नहीं आ रहा था कि क्या करें।
इधर देवव्रत और उसकी पत्नी रीना की भी नींद खुल गई जब वे अपने कमरे से बाहर निकले तो बाहर का नजारा देखकर वे दंग रह गए। सभी चोरों को वे दोनों कुत्ते मिलकर काट रहे थे।देवव्रत ने फटाफट पुलिस के पास फोन किया और चोरों को पुलिस अपने साथ लेकर चली गई।
रीना को भी समझ में आ गया था कि वह कुत्तों को अपने घर से भगा कर कितनी बड़ी गलती करती थी। अब दोनों पति पत्नी कुत्तों से प्रेम करने लगे थे और उन्हें दोनों कुत्तों के बहुत ही ज्यादा गर्व था।